
Noida News : भारत के पहले पेशेवर पर्वतारोही अर्जुन वाजपेयी ने हिमालय की 7 चोटियों को फतेह करने के बाद अब माउंट शिशा पंगमा पर चढ़ाई के लिए तैयार हैं। यह चोटी 8,027 मीटर (26,335 फ़ीट) की ऊँचाई पर स्थित है और इसे दुनिया की 14वीं और आठ हज़ार मीटर की ऊँचाई वाली सबसे निचली चोटी माना जाता है। इस ऐतिहासिक चढ़ाई को आदित्य बिड़ला एजुकेशन ट्रस्ट की पहल एमपॉवर का समर्थन प्राप्त है, जो मानसिक स्वास्थ्य सेवाओं में अग्रणी है।
अर्जुन का पर्वतारोहण सफर
अर्जुन वाजपेयी ने अपने करियर में 16 पर्वतारोहण अभियानों का सफलतापूर्वक संचालन किया है। उन्होंने 14 आठ-हज़ार मीटर की चोटियों में से 7 पर चढ़ाई की है। यदि वह माउंट शिशा पंगमा पर सफल होते हैं, तो वह 8000 मीटर की 8 चोटियों पर चढ़ने वाले पहले भारतीय पर्वतारोही बन जाएंगे।
मानसिक स्वास्थ्य का महत्व
अर्जुन का मानना है कि मानसिक दृढ़ता और लचीलापन चुनौतीपूर्ण चढ़ाई में सफलता के लिए महत्वपूर्ण हैं। वह शारीरिक प्रशिक्षण के साथ-साथ मानसिक शक्ति की भूमिका पर जोर देते हैं। उनके अनुसार, “जब शरीर हार मान लेता है, तो दिमाग काम संभाल लेता है।”
गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड धारक
महज 30 साल की उम्र में, अर्जुन ने 2010 में माउंट एवरेस्ट और 2011 में माउंट लोत्से पर चढ़ने के लिए गिनीज वर्ल्ड रिकॉर्ड प्राप्त किया। उनका अंतिम लक्ष्य दुनिया की सभी 14 8000 मीटर की चोटियों पर चढ़ना है, और माउंट शिशा पंगमा इस दिशा में उनका अगला कदम है।
अर्जुन का सपना
अर्जुन ने पहले ही माउंट एवरेस्ट, माउंट लोत्से, माउंट मकालू, माउंट कंचनजंगा, माउंट मनास्लू, माउंट अन्नपूर्णा और चो-ओयू पर चढ़ाई की है। उनका कहना है, “8000 मीटर से ऊपर सभी 14 पहाड़ों पर चढ़ना, भारत का झंडा ऊंचा उठाना और यह उपलब्धि हासिल करने वाला एकमात्र भारतीय बनना मेरा सपना है।”
अर्जुन का अब तक का सफर
– 16x 8000 मीटर अभियान
– 7 सफल शिखर
– 2010: माउंट एवरेस्ट
– 2011: माउंट लोत्से
– 2011: माउंट मनास्लू
– 2016: माउंट मकालू
– 2016: माउंट चो-ओयू
– 2018: माउंट कंचनजंगा
– 2023: माउंट अन्नपूर्णा
अर्जुन वाजपेयी का यह अभियान न केवल उनके लिए, बल्कि भारत के पर्वतारोहण इतिहास के लिए भी एक महत्वपूर्ण क्षण है।