Greater Noida News/ भारतीय टॉक न्यूज़: नोएडा/ग्रेटर नोएडा: ग्रेटर नोएडा के बिसरख थाना क्षेत्र के ईंटेहरा गांव में मामूली नाली विवाद ने खूनी संघर्ष का रूप ले लिया. दबंगों ने एक युवक के घर में घुसकर उसके साथ न केवल जमकर मारपीट की, बल्कि जान बचाने के लिए भाग रहे युवक पर मोटरसाइकिल चढ़ाकर उसे जान से मारने का भी प्रयास किया. यह पूरी भयावह घटना पास में लगे सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गई है. गंभीर रूप से घायल युवक को अस्पताल में भर्ती कराया गया है, जहां उसका इलाज चल रहा है. पीड़ित परिवार ने पुलिस पर एफआईआर दर्ज न करने और समझौते के लिए दबाव बनाने का गंभीर आरोप लगाया है.
घटना का जो सीसीटीवी फुटेज सामने आया है, उसमें साफ तौर पर देखा जा सकता है कि कुछ लोग एक युवक पर हमला कर रहे हैं. जब पीड़ित युवक, जिसकी पहचान अनुज यादव के रूप में हुई है, अपनी जान बचाने के लिए भागने की कोशिश करता है, तो एक हमलावर तेज रफ्तार मोटरसाइकिल से उसे जोरदार टक्कर मार देता है. इस टक्कर में अनुज गंभीर रूप से घायल होकर जमीन पर गिर पड़ता है.
पीड़ित अनुज यादव का कहना है कि उनका पड़ोसियों से नाली को लेकर काफी समय से विवाद चल रहा था. इसी रंजिश के चलते दबंगों ने योजनाबद्ध तरीके से उन पर यह जानलेवा हमला किया. इस हमले में अनुज का एक दांत भी टूट गया है और शरीर के अन्य हिस्सों में भी गंभीर चोटें आई हैं.
पुलिस पर समझौते का दबाव बनाने का आरोप
वहीं, पीड़ित परिवार का आरोप है कि घटना के बाद से वे लगातार पुलिस से न्याय की गुहार लगा रहे हैं, लेकिन उनकी शिकायत पर कोई ठोस कार्रवाई नहीं की जा रही है. अनुज की बहन ने मीडिया को बताया कि बिसरख थाना पुलिस मामले में एफआईआर दर्ज करने के बजाय उन पर लगातार समझौता करने का दबाव बना रही है. उन्होंने अपनी और अपने परिवार की सुरक्षा को लेकर भी चिंता जताई है. न्याय की उम्मीद में पीड़ित परिवार ने अब प्रदेश के मुख्यमंत्री से हस्तक्षेप की गुहार लगाई है.
पुलिस ने दोनों पक्षों पर केस दर्ज करने की बात कही
इस पूरे मामले पर जब थाना बिसरख की पुलिस से बात की गई, तो उनका कहना था कि दोनों पक्षों में नाली बंद करने और घर के सामने गाड़ी खड़ी करने को लेकर विवाद हुआ था. पुलिस के अनुसार, इस संबंध में दोनों ही पक्षों के खिलाफ अभियोग पंजीकृत किया गया है और मामले में अग्रिम विधिक कार्यवाही की जा रही है.
इस घटना ने एक बार फिर मामूली विवादों में बढ़ती हिंसा और कानून-व्यवस्था की स्थिति पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं. सीसीटीवी फुटेज के रूप में स्पष्ट सबूत होने के बावजूद पीड़ित परिवार द्वारा पुलिस पर लगाए जा रहे आरोप मामले को और भी संवेदनशील बना रहे हैं.