हाथरस भगदड़: 6 सेवादार गिरफ्तार, महत्वपूर्ण वीडियो मिले

Partap Singh Nagar
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हाथरस भगदड़: 6 सेवादार गिरफ्तार, महत्वपूर्ण वीडियो मिले
हाथरस भगदड़: 6 सेवादार गिरफ्तार, महत्वपूर्ण वीडियो मिले
हाथरस भगदड़: 6 सेवादार गिरफ्तार, महत्वपूर्ण वीडियो मिले

 

Hathras stampede: हाथरस में एनएच-91 पर फुलरई मुगल गढ़ी में मंगलवार को नारायण साकार हरि ‘भोले’ बाबा के सत्संग में मची भगदड़ में 123 लोगों की मौत हो गई। इस घटना के बाद से घटनास्थल से तमाम निशान साफ हो चुके हैं। कुछ सबूत बाबा की पर्सनल आर्मी ने मिटा दिए और कुछ लगातार हो रही बारिश से धुल गए। शुरुआती जांच में कई प्रत्यक्षदर्शियों ने अफसरों को बताया कि घटना के दौरान वीडियो बना रहे लोगों के मोबाइल फोन सेवादारों ने छीन लिए। यही वजह है कि अभी तक घटना का कोई वीडियो सामने नहीं आया है।

 मुख्य आरोपी पर इनाम, जांच टीम को मिले वीडियो

भगदड़ की घटना के तीसरे दिन पुलिस ने पहली गिरफ्तारी करते हुए 6 लोगों को पकड़ा है। इनमें 4 पुरुष और दो महिलाएं शामिल हैं। ये सभी लोग आयोजन समिति के सदस्य और सेवादार हैं। मुख्य आयोजक देव प्रकाश मधुकर पर एक लाख रुपए के इनाम की घोषणा की गई है। अलीगढ़ के आईजी शलभ माथुर ने कहा कि जोन स्तर पर सभी जिलों में एसओजी की टीमों को गिरफ्तारी के लिए लगाया गया है। मौके से मिले साक्ष्यों को जांच का हिस्सा बनाया जा रहा है। वहीं, एडीजी की अगुवाई वाली एसआईटी ने प्रत्यक्षदर्शियों, घायलों और मृतकों के परिजनों समेत 64 लोगों के बयान दर्ज किए हैं। स्वतंत्र लोगों ने घटना के दौरान के कुछ वीडियो भी एसआईटी को सौंपे हैं। बताया गया है कि इनमें बाबा की आर्मी से जुड़े लोग वीडियो बनाने वालों के फोन छीन रहे हैं और भगदड़ में गिरी महिलाओं को हाथ लगाने से मना कर रहे हैं। एक सीसीटीवी फुटेज में बाबा आयोजन स्थल से सफेद रंग की गाड़ी में बैठकर जाते दिखे। कार के आगे बाबा के काले कपड़ों वाले पर्सनल कमांडो बाइक से पायलट की तरह जा रहे थे।

 पोस्टमार्टम रिपोर्ट: महिलाओं की पसलियां फेफड़े में घुसीं

2 जुलाई को भगदड़ में जान गंवाने वाले कुल 123 लोगों में से 113 महिलाएं, 7 बच्चे और 3 पुरुष थे। अलीगढ़ में 38, आगरा में 21, हाथरस में 34 और एटा में 28 शवों का पोस्टमॉर्टम हुआ। रिपोर्ट के मुताबिक, 74 की मौत दम घुटने से, 15 की मौत सिर और गर्दन की हड्डी टूटने से हुई। 31 महिलाओं की पसलियां टूटकर दिल और फेफड़े में घुस गईं। डॉक्टरों ने बताया कि महिलाएं शरीर से कमजोर होने के कारण हादसे की चपेट में अधिक आई हैं।

 गिरफ्तार 6 आरोपियों का बयान

गिरफ्तार 6 आरोपियों ने पूछताछ में पुलिस को बताया कि वे भीड़ और चंदा जुटाने की जिम्मेदारी निभाते हैं। वे भीड़ नियंत्रण, पंडाल व पार्किंग की व्यवस्था करते हैं। सेवादारों को अलग-अलग तरह की वर्दी दी जाती है। सिक्योरिटी में पुरुष और महिला कमांडो को काले रंग, जंगल डांगरी ड्रेस और पिंक ड्रेस भी दी जाती है। ये भीड़ को अपने हिसाब से नियंत्रित करते हैं। बाबा के बारे में मान्यता है कि उनके चरणरज से संकट दूर हो जाते हैं। वे बाबा के काफिले को भीड़ से निकालने के लिए बाबा की गाड़ी के आगे और पीछे दौड़ते हैं। घटना के दिन भी बाबा की चरणरज के लिए भीड़ गाड़ी के सामने आई तो हमने भीड़ को रोका। जैसे ही काफिला निकला तो भीड़ को अनियंत्रित छोड़ दिया गया, जिससे महिलाएं और बच्चे एक-दूसरे पर गिरने लगे और अफरा-तफरी मच गई। ये सब देखकर हम सभी लोग जल्दी से निकल गए। हम पुलिस प्रशासन को आयोजन की फोटो और वीडियो बनाने से भी रोकते थे।

नेटवर्क का खुलासा

अस्पताल के बिस्तर पर पड़ी तारामती कहती हैं, ‘सत्संग के अंत में भोले बाबा ने कहा था- आज प्रलय आएगी और फिर प्रलय आ गई।’ हाथरस के जिस दोंकेली गांव से ये आई थीं, वहां के लोग बताते हैं, ‘बाबा के हर गांव में 10 से 12 सेवादार हैं। वे आते हैं और गांव के लोगों को सत्संग के बारे में बताते हैं और उन्हें कारों और बसों में कार्यक्रम स्थल तक ले जाते हैं। ये अनुयायी अपने गले में बाबा की तस्वीर वाला पीला लॉकेट पहनते हैं।’

हाथरस भगदड़ की घटना ने पूरे देश को हिला कर रख दिया है। पुलिस और जांच एजेंसियां इस मामले की तह तक जाने की कोशिश कर रही हैं। गिरफ्तार किए गए सेवादारों के बयान और मिले वीडियो इस मामले में महत्वपूर्ण सबूत साबित हो सकते हैं। बाबा की पर्सनल आर्मी और उनके अनुयायियों का नेटवर्क भी जांच के दायरे में है। इस घटना ने धार्मिक आयोजनों में सुरक्षा और भीड़ नियंत्रण के महत्व को एक बार फिर से उजागर किया है।

 

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