यमुना प्राधिकरण का मास्टरस्ट्रोक: 85वीं बोर्ड बैठक में ₹30,700 करोड़ का निवेश, किसान और कामगारों के लिए ऐतिहासिक सौगात

Masterstroke of Yamuna Authority: Investment of ₹30,700 crores in the 85th board meeting, a historic gift for farmers and workers

Partap Singh Nagar
4 Min Read
यमुना प्राधिकरण का मास्टरस्ट्रोक: 85वीं बोर्ड बैठक में ₹30,700 करोड़ का निवेश, किसान और कामगारों के लिए ऐतिहासिक सौगात

Greater Noida News/ भारतीय टॉक न्यूज़: यमुना एक्सप्रेसवे औद्योगिक विकास प्राधिकरण (YEIDA) ने अपनी 85वीं बोर्ड बैठक में ऐसे ऐतिहासिक फैसले लिए हैं, जो ग्रेटर नोएडा से लेकर अलीगढ़ तक के पूरे क्षेत्र की तस्वीर बदलने का दम रखते हैं। यह बैठक सिर्फ प्रस्तावों पर मुहर लगाने तक सीमित नहीं रही, बल्कि इसने एक ऐसे भविष्य का खाका तैयार किया है, जहाँ औद्योगिक क्रांति, किसानों की समृद्धि और सामाजिक समावेश एक साथ कदमताल करेंगे। चेयरमैन आलोक कुमार की अध्यक्षता में हुई इस बैठक को इस क्षेत्र के लिए एक “गेम-चेंजर” माना जा रहा है।

औद्योगिक क्रांति की नींव: सेमीकंडक्टर और लॉजिस्टिक्स हब

इस बैठक का सबसे बड़ा आकर्षण सेमीकंडक्टर और लॉजिस्टिक्स के क्षेत्र में लिए गए निर्णय रहे।

सेमीकंडक्टर पार्क: सेक्टर-28 में दो बड़ी कंपनियों को कुल 173 एकड़ जमीन आवंटित की गई है, जहाँ ₹30,700 करोड़ का विशाल निवेश होगा। यह कदम भारत को सेमीकंडक्टर निर्माण में आत्मनिर्भर बनाने की दिशा में एक मील का पत्थर है, जिससे हजारों प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा होंगे।

मल्टी-मॉडल लॉजिस्टिक्स पार्क: अलीगढ़ में लॉजिस्टिक्स पार्क की स्थापना से यह क्षेत्र ट्रांसपोर्टेशन, स्टोरेज और सप्लाई चेन का एक प्रमुख केंद्र बनेगा, जिससे व्यापार को अभूतपूर्व गति मिलेगी।

किसान प्रथम: वर्षों पुरानी मांगों को मिली मंजूरी

प्राधिकरण ने किसानों से जुड़े मुद्दों को सर्वोच्च प्राथमिकता देते हुए विश्वास बहाली की एक मजबूत कोशिश की है।

अतिरिक्त मुआवजा और लीजबैक: किसानों को 64.7% अतिरिक्त मुआवजे के भुगतान में तेजी लाने और 17 गांवों में 205 लीजबैक मामलों को निपटाने का फैसला एक बड़ी राहत है।

स्मार्ट विलेज और किसान भवन: दनकौर में इंजीनियरिंग कॉलेज, किसान भवन और कई गांवों को स्मार्ट विलेज के रूप में विकसित करने का निर्णय ग्रामीण बुनियादी ढांचे को शहरी सुविधाओं के बराबर लाने का एक प्रयास है।

सबके लिए घर: समावेशी विकास पर जोर

औद्योगिक विकास के साथ-साथ, प्राधिकरण ने समाज के हर वर्ग के लिए आवासीय जरूरतों का भी ध्यान रखा है।

श्रमिकों के लिए आवासीय योजना: जेवर के पॉश सेक्टरों में औद्योगिक श्रमिकों और छोटे कामगारों के लिए 30 वर्ग मीटर के 4288 भूखंडों की योजना एक अभूतपूर्व सामाजिक पहल है। यह सुनिश्चित करेगा कि विकास का लाभ आखिरी व्यक्ति तक पहुँचे।

एकमुश्त समाधान योजना (OTS): सभी श्रेणियों के आवंटियों के लिए 1 जुलाई से 31 अगस्त 2025 तक OTS योजना लाई गई है। इससे न केवल प्राधिकरण की बकाया वसूली होगी, बल्कि हजारों आवंटियों को कानूनी झंझटों से मुक्ति मिलेगी।

कनेक्टिविटी से रफ्तार: मास्टर प्लान 2041

नोएडा इंटरनेशनल एयरपोर्ट (जेवर एयरपोर्ट) को केंद्र में रखकर कनेक्टिविटी परियोजनाओं को गति देने का निर्णय लिया गया है। एयरपोर्ट को चोला रेलवे स्टेशन से जोड़ने वाली 20 किलोमीटर की रेल लाइन और सड़कों का जाल बिछाने का काम तेज किया जाएगा। ये सभी परियोजनाएं यमुना प्राधिकरण के मास्टर प्लान 2041 का हिस्सा हैं, जिसका लक्ष्य इस क्षेत्र को एक विश्वस्तरीय लॉजिस्टिक्स और शहरी केंद्र बनाना है।

कुल मिलाकर, YEIDA की 85वीं बोर्ड बैठक सिर्फ एक प्रशासनिक बैठक नहीं, बल्कि एक मजबूत राजनीतिक इच्छाशक्ति और भविष्य के लिए एक स्पष्ट विजन का प्रमाण है। ये निर्णय आने वाले वर्षों में यमुना प्राधिकरण क्षेत्र को निवेश, रोजगार और आधुनिक जीवनशैली का एक पावरहाउस बनाने की क्षमता रखते हैं।

 

Spread the love
Share This Article
Leave a comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *