Dadri / Greater Noida/ भारतीय टॉक न्यूज़: दादरी/नोएडा: मेरठ टोल प्लाजा पर एक जवान के साथ हुए दुर्व्यवहार की घटना को लेकर किसानों में भारी रोष है। इसी क्रम में मंगलवार को भारतीय किसान यूनियन मंच के पदाधिकारियों ने दादरी एसडीएम श्रीमती अनुज नेहरा से मुलाकात कर केंद्रीय सड़क परिवहन मंत्री श्री नितिन गडकरी के नाम एक ज्ञापन सौंपा। संगठन ने मेरठ की घटना को अमानवीय और शर्मसार करने वाला बताते हुए भविष्य में किसी भी जवान या किसान के साथ ऐसी पुनरावृत्ति न होने की मांग की है।
ज्ञापन सौंपने के बाद, भाकियू मंच के राष्ट्रीय महासचिव मास्टर मनमिंदर भाटी ने कहा, “मेरठ टोल पर हमारे एक जवान के साथ जो दुखद घटना हुई है, उससे पूरे देश में ऐसे टोलों के खिलाफ गुस्सा है। हम इस घटना की कड़ी निंदा करते हैं और यह सुनिश्चित करना चाहते हैं कि भविष्य में देश के अन्नदाता (किसान) और रक्षक (जवान) का अपमान न हो।”
पहचान पत्र पर टोल फ्री हो, बाउंसरों पर लगे प्रतिबंध
संगठन ने सरकार से मांग की है कि देश के जवानों और किसानों की परेशानियों को समझते हुए एक स्थायी समाधान निकाला जाए। राष्ट्रीय प्रवक्ता सुनील भाटी ने कहा, “जवान और किसान अगर परेशान रहेंगे तो देश कभी तरक्की नहीं कर सकता। हमारी सरकार से मांग है कि पहचान पत्र (ID Card) के आधार पर देश के सभी टोल प्लाजा पर जवानों और किसानों का आवागमन निःशुल्क किया जाए। साथ ही, टोलों पर गुंडों के रूप में जो बाउंसर बैठाए गए हैं, उन पर तत्काल प्रभाव से प्रतिबंध लगाया जाना चाहिए।”
टोलों पर अवैध वसूली और स्थानीय समस्याएं भी उठाईं
इस दौरान संगठन के अधिवक्ता संघ के राष्ट्रीय अध्यक्ष एडवोकेट दिनेश भाटी ने टोल प्लाजा पर चल रही अवैध वसूली का मुद्दा भी उठाया। उन्होंने आरोप लगाया कि “बड़े-बड़े ट्रांसपोर्टरों से टोल कर्मचारी प्रतिमाह पैसों की उगाही करते हैं। एनसीआर के लगभग सभी टोलों पर यही हाल है, जिसकी उच्चस्तरीय जांच होनी चाहिए।”
पदाधिकारियों ने दादरी क्षेत्र में स्थित लुहारली टोल प्लाजा की समस्याओं पर भी ध्यान केंद्रित किया। मेरठ मंडल अध्यक्ष अमित प्रधान और जिलाध्यक्ष अन्नू सरपंच ने बताया कि लुहारली टोल पर क्षेत्र की बहन-बेटियों के साथ मारपीट और अभद्रता की घटनाएं हो चुकी हैं। वहीं, पश्चिमी उत्तर प्रदेश अध्यक्ष कृष्ण भड़ाना ने कहा कि इस टोल पर आज तक एंबुलेंस जैसी आपातकालीन सेवा के लिए भी कोई निश्चित लेन नहीं है, जिससे मरीजों की जान जोखिम में रहती है।
इस मौके पर विक्रान्त भाटी, आस मोहम्मद, मोहसिन सैफी, अजब सिंह भाटी, डॉ यामीन सैफी, दानिश खान, रोहतास नागर, विजेंदर भाटी और आदिल सैफी समेत कई कार्यकर्ता मौजूद रहे।