Khanpur Firing Case : उत्तराखंड के खानपुर फायरिंग मामले में सोमवार को एक महत्वपूर्ण मोड़ आया है। लंढौरा के पूर्व विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन (MLA Kunwar Pranav Singh ) को 14 दिन की न्यायिक हिरासत में जेल भेजा गया है, जबकि खानपुर विधायक उमेश कुमार (MLA Umesh Kumar) को जमानत मिल गई है। यह मामला दोनों नेताओं के बीच चल रही आपसी रंजिश से जुड़ा हुआ है।
कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन की गिरफ्तारी
हरिद्वार: पूर्व विधायक कंवर प्रणव चैंपियन को कोर्ट ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेजा जेल
विवाद के बाद पुलिस ने चैंपियन को सीजेएम कोर्ट में किया था
अगली सुनवाई 7 फरवरी को होगी।#pranavsinghchampion@PranavChampion pic.twitter.com/qyNysNsQQX
— Partap Singh ” BharatiyaTalk News” (@partap_nagar) January 27, 2025
पूर्व विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन (MLA Kunwar Pranav Singh) को हरिद्वार की अदालत ने 14 दिन की न्यायिक हिरासत में भेज दिया। पुलिस के मुताबिक, चैंपियन और उनके समर्थकों ने खानपुर विधायक उमेश कुमार के दफ्तर पर फायरिंग की थी, जिसके बाद मामला दर्ज किया गया था। कोर्ट ने चैंपियन की गिरफ्तारी के बाद उन्हें हरिद्वार जेल भेज दिया। चैंपियन के वकील ने अदालत में यह भी कहा कि पुलिस ने विधायक उमेश कुमार के खिलाफ गलत धाराएं लगाई हैं और उचित कार्रवाई नहीं की है।
विधायक उमेश कुमार को मिली जमानत
वहीं, दूसरी ओर, खानपुर विधायक उमेश कुमार (MLA Umesh Kumar) को अदालत से जमानत मिल गई। उमेश कुमार को 40,000 और 30,000 के दो जमानती मुचलकों पर जमानत दी गई। अदालत ने सुनवाई के दौरान चैंपियन के वकील के आरोपों को खारिज करते हुए उमेश कुमार को राहत दी। यह फैसला विधायक के लिए एक बड़ी राहत के तौर पर सामने आया, जबकि चैंपियन को अपनी सजा का सामना करना पड़ा।
पूरा मामला: व्यक्तिगत रंजिश से हिंसा तक
पूर्व विधायक कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन और विधायक उमेश कुमार के बीच यह विवाद लंबे समय से चला आ रहा था। 25 जनवरी को जब उमेश कुमार अपने समर्थकों के साथ चैंपियन के घर पहुंचे तो चैंपियन वहां नहीं मिले। इस घटना के बाद चैंपियन ने 26 जनवरी को बदला लेने के लिए उमेश कुमार के घर पर हमला किया। दोनों नेताओं के बीच की व्यक्तिगत रंजिश ने इस घटना को हिंसक मोड़ दे दिया।
पुलिस की कार्रवाई और एफआईआर
चैंपियन और उनके समर्थकों के खिलाफ पुलिस ने कई धाराओं में मामला दर्ज किया। पुलिस का कहना है कि फायरिंग के बाद विधायक उमेश कुमार ने भी अपनी पिस्टल से गोलियां चलाईं, जिसके बाद उनके खिलाफ भी एफआईआर दर्ज की गई। इस पूरी घटना के बाद, चैंपियन को गिरफ्तार कर लिया गया, और उमेश कुमार के खिलाफ भी कानूनी कार्रवाई की जा रही है।
प्रशासन का कदम: हथियारों के लाइसेंस रद्द
हरिद्वार के जिलाधिकारी कर्मेंद्र सिंह ने फायरिंग के बाद बड़ा कदम उठाते हुए कुंवर प्रणव सिंह चैंपियन, उनकी पत्नी देवयानी सिंह और उनके बेटे दिव्य प्रताप सिंह के नाम से जारी किए गए 9 हथियारों के लाइसेंस को रद्द कर दिया। इसके अलावा, जिलाधिकारी ने उनके खिलाफ कारण बताओ नोटिस भी जारी किया। यह कार्रवाई कानून और शांति व्यवस्था को बनाए रखने के लिए की गई है।
राजनीतिक विवाद से बढ़ती हिंसा
यह पूरा घटनाक्रम उस लंबे समय से चली आ रही राजनीतिक रंजिश का नतीजा है, जो अब हिंसक रूप में सामने आया है। दोनों नेताओं के बीच गाली-गलौज और धमकियों का सिलसिला जारी था, और यह घटना उस उबाल का परिणाम मानी जा रही है। पुलिस और प्रशासन अब मामले की गंभीरता को देखते हुए सख्त कार्रवाई कर रहे हैं, जिससे यह संदेश जाता है कि ऐसे मामलों में कोई भी ढील नहीं दी जाएगी।